नोएडा,उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ आज दादरी,नोएडा में गुर्जर सम्राट मिहिर भोज की प्रतिमा का अनावरण करने आये थे,जहाँ पर एक बड़ी सभा को सम्बोधित कर उन्होंने अपने कार्यकाल के कामों के बारे में बताया,लेकिन वही दूसरी तरफ दिल्ली- मुंबई औद्योगिक कॉरिडोर एवं डीएफसीसी तथा तीनों प्राधिकरणों व अंसल बिल्डर और हाइटेक सिटी बिल्डर आदि परियोजनाओं से प्रभावित जनपद गौतमबुद्ध नगर के किसान मुुख्यमंत्री से मिलकर अपनी समस्याा से अवगत कराना चाह रहे थे।
किसान नेता सुनील फौजी ने बताया कि देश में नया कानून लागू हो जाने के बाद भी नए भूमि अधिग्रहण कानून 2013 के अनुसार बाजार दर का 4 गुना मुआवजा, 20% प्लॉट तथा किसानों के बच्चों को रोजगार आदि की सुविधाएं नहीं दी जा रही हैं, साथ ही उनकी आबादियों को भी आबादी न मानकर जबरन खेती की जमीन बताकर अधिग्रहीत किया जा रहा है। उक्त मांगों को लेकर कई वर्षों से आंदोलनरत किसानों से 6 महीने पहले ग्रेटर नोएडा प्राधिकरण पर किए गए व्यापक धरना प्रदर्शन के दौरान जिला प्रशासन द्वारा किसानों की मा. मुख्यमंत्री से वार्ता कराकर समस्याओं का समाधान कराने का भरोसा दिया गया था, परंतु अभी तक भी वार्ता नहीं कराई गई है।
लगातार अपील करने के बाद आज भी जनपद में आए हुए मा. मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ से वार्ता नहीं कराई गई है और एडीएम प्रशासन द्वारा वायदा करने के बाद भी मुख्यमंत्री के नाम ज्ञापन भी नहीं लिया गया है, और ना ही वायदे के अनुसार लखनऊ में 15 दिन में वार्ता कराए जाने की तिथि तय करके बताई गई है, उल्टा दादरी क्षेत्र के विभिन्न गांवों से चिटहेरा से दादरी तक पैदल मार्च कर मुख्यमंत्री को ज्ञापन सौंपने आए किसानों को बैरिकेडिंग लगाकर चिटहेरा नहीं पहुंचने दिया गया, प्रत्येक गांव में संघर्षशील लोगों के घरों पर भारी पुलिस फोर्स लगाकर रखी गई और चिटहेरा, पल्ला आदि गांवो से जबरन बसों में भरकर किसानों को जेल ले जाया जा रहा है।